
रायगढ़ :- जब आदमी के साथ छल या धोखा हो तो सामान्य तौर पर यह समझा जाता है कि कही न कभी उंसके साथ राजनीति हो रही है l राजनीति शब्द से आम आदमी नफरत करने लगा जनता यह भली भांति समझने लगी है कि राजनीति से बहुत ज्यादा उम्मीद रखना बेमानी है l चुनावी वादों के पिटारे के सामने बजाई जाने वाली नेताओ के वादों की बीन सुनकर जनता फन निकाल मंत्रमुग्ध होकर सुनती है l बीन बजाने वाला नेता पिटारे में बन्द जनता का कभी भी भला नही कर पाता l वादों के पीटारो में बन्द जनता की नियति मानो धोखा खाने की हो गई है l मध्यप्रदेश की कोख से छग का जन्म हुआ l अंतहीन शोषण छग की नियति रही l दशको से चल रही शोषण की दासता से मुक्ति केवल राजनीति के जरिये सम्भव थी l काँग्रेस के 6 साल और भाजपा के 15 सालो में बहुत बड़ा बदलाव देखने नही मिला l दो दशक के बाद भी जर्जर सड़के करप्शन बदहाल शिक्षा व चिकित्सा की बदहाली बदल नही पाई l सरकारे तो बदली लेकिन जनता की नियति नही बदल पाई l भाजपा हो या काँग्रेस दोनो हो दलों में ऐसा कोई नेता नही हुआ जिसका राजनीति से परे कोई बड़ा विजन हो l कलेक्टर का पद छोड़ कर राजनीति में आये ओपी चौधरी को प्रदेश की जनता बदलाव की नायक के रूप में देख रही है l छग की जनता को राजनीति में ऐसे महानायक की तलाश है जो जन भावनाओ के खरा उतरते हुए राजनीति शब्द में पवित्रता का भाव भरते जनता में भरोसा पैदा कर सके l बतौर कलेक्टर जनता ने ओपी के कार्यो को शिद्दत से महसूस किया वे पहले अफसर है कलेक्टर रहते हुए जिनके कार्यो को केंद्र में कांग्रेस की मनमोहन सरकार ने सराहा वही राज्य में भाजपा को रमन सरकार ने उनके लाईवली हुड मॉडल को अपनाया l ओपी के कुछ तो ऐसा अवश्य है जिसे दलगत राजनीति के परे स्वीकार किया गया l ओपी सीधे तौर पर कहते है वे राजनीति में कुछ बड़ा करने आये है l उसकी झलक उनके कार्यो में नजर आती है l राजनीति पर चर्चा लिए सदा तैयार रहने वाले ओपी आधुनिक खेती के लिए प्रदेश के किसानों के रोल मॉडल माने जाते है l वे पहले ऐसे नेता है जिन्हें राजनीति से परे सबसे अधिक पंसद किया जाता है l युवाओ के रोल मॉडल माने जाने वाले ओपी प्रदेश के परीक्षाओं हेतु निःशुल्क कोचिंग व मार्गदर्शन भी देते है l हाल में ही ओपी ने सोशल मंच के जरिये जानकारी देते एक तस्वीर साझा करते हुए कहा कि
गृह ग्राम बायंग में अपने भावी करियर के मार्गदर्शन के लिये रायगढ़ और जांजगीर-चांपा जिले के बच्चे उनके पास आये और उनका मार्गदर्शन कर आत्मिक संतुष्टि का अहसास हुआ l ओपी का यही अंदाज जनता के मन मे राजनीति के प्रति श्रद्धा का भाव पैदा कर रहा है l





